गैर मादक उपयोग के लिए भांग की खेती पर नीति तैयार करेगी सरकार

हिमाचल प्रदेश सरकार राज्य में औद्योगिक, औषधीय तथा वैज्ञानिक उपयोग के लिए भांग की खेती शुरू करने के लिए नीति तैयार करेगी। इससे जहां गम्भीर रोगियों को भांग के औषधीय उपयोग का अधिकार प्राप्त होगा, वहीं भांग के विविध उत्पादों से प्रदेश में राजस्व भी अर्जित होगा। यह जानकारी राजस्व, बागवानी एवं जनजातीय विकास मंत्री जगत सिंह नेगी ने आज भांग के गैर मादक उपयोग की अनुशंसा के लिए गठित समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी। उन्होंने कहा कि देश में स्वापक औषधि और मनःप्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985 लागू है। इसके अतिरिक्त राज्य में हिमाचल प्रदेश स्वापक औषधि और मनःप्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1989 भी कार्यान्वित किया जा रहा है। यह नीति इन अधिनियमों के तहत तैयार की जाएगी।
जगत सिंह नेगी ने कहा कि प्रदेश सरकार राज्य में नशीले पदार्थों के उपयोग के प्रति संवदेनशील है तथा नशा निवारण के लिए विभिन्न कदम उठाए गए हैं। इसके दृष्टिगत केवल औद्योगिक, औषधीय तथा वैज्ञानिक उद्देश्यों के लिए भांग की खेती को सीमित करना और वैध तरीके से किसानों तथा उपभोक्ताओं के हितों की रक्षा करना प्रदेश सरकार का ध्येय है। भांग के पौधे से विभिन्न उत्पाद बनाए जा सकते हैं, जो बाजार में अच्छे दाम प्राप्त करते हैं।